सरकार गिराने का रेट 10 करोड़ और मंत्री पद
—अनिल नरेन्द्र
हावड़ा में 49 लाख के साथ पकड़े गए झारखंड कांग्रेस के तीनों विधायकों पर पार्टी के ही विधायक कुमार जय मंगल ने रांची पुलिस में शिकायत दर्ज कराईं थी। शिकायत में उन्होंने कहा—सोरेन सकार गिराने के लिए 10 करोड़ रुपए और मंत्री पद का प्रास्ताव दिया गया था। सोरेन सरकार में कांग्रोस कोटे के मंत्री आलमगीर आलम ने यह जानकारी दी।
जय मंगल ने दावा किया कि राजेश कच्छप और नमन बिक्सल कोंगारी ने उन्हें भी कोलकाता चलने और हर विधायक को 10 करोड़ रुपए देने का वादा किया था। इरफान अंसारी और राजेश कच्छप उन्हें कोलकाता से गुवाहाटी ले जाना चाहते थे। विधायकों से नकदी मिलने के मामले में कांग्रोस मीडिया प्राभारी पवन खेड़ा ने कहा—इसे भाजपा का ऑपरेशन लोटस नहीं कीचड़ कहा जाना चाहिए। जहां भाजपा चुनाव जीतकर सरकार नहीं बना पाती, वहां जांच एजेंसियां उनकी विंग की तरह काम करती हैं।
वरिष्ठ नेता बाबू लाल मराड़ी ने कहा—कांग्रोस अपने खुद के विधायकों पर विश्वास नहीं करती है। वह अपने विधायकों के भ्रष्टाचार और वुकर्मो को छिपाने की कोशिश कर रही है। उन्होंने प्रादेश सरकार को अस्थिर करने के कांग्रोस के आरोपों का भी खंडन किया। झारखंड में सत्तारूढ़ झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेता सुप्रीमो भट्टाचार्यं ने कहा कि राज्य में हेमंत सोरेन के नेतृत्व में चुनी हुईं गठबंधन सरकार को गिराने की पटकथा दो साल पहले लिखी गईं थी। भाजपा चुनी हुईं लोकतांत्रिक सरकार को येन-केन-प्राकारेण गिराकर राज्य में सत्ता पाने की मंशा रखती है। उन्होंने कहा कि 20 साल बाद चुनाव पूर्व गठबंधन से यह सरकार बनी। ऐसे में सरकार को अस्थिर करने की कोशिशें लोकतांत्रिक मूल्यों व लोकतंत्र को कमजोर करेंगी।
भाजपा का लक्ष्य है कि वह जहां चुनाव जीतेंगे वहां सरकार बनाएंगे ही और जहां चुनाव नहीं जीतेंगे वहां जरूर सरकार बनाएंगे। उन्होंने विश्वास जताया कि झामुमो-कांग्रोस गठबंधन सरकार 2024 में फिर से राज्य में सत्ता में आएगी और दावा किया कि झामुमो के विधायक एकजुट रहेंगे।