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ऊर्जा मंत्री प्रियव्रत ने कहा, नए साल में नहीं होगी बिजली दरों में वृद्ध‍ि

👤 manish kumar | Updated on:10 Dec 2019 5:08 AM GMT

ऊर्जा मंत्री प्रियव्रत ने कहा, नए साल में नहीं होगी बिजली दरों में वृद्ध‍ि

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भोपाल । मध्‍यप्रदेश में किसानों को खेती के लिए लगातार 12 घण्टे बिजली देने की योजना पर कार्य किया जा रहा है। प्रदेश में विरासत में मिली खस्ताहाल विद्युत कंपनियों पर कुल रूपये 37 हजार 963 करोड़ ऋण था। साथ ही, कम्पनियों का संचयी घाटा बढ़कर लगभग 44 हजार 975 करोड़ हो गया था। इस कारण नई सरकार के सामने कई चनौतियाँ थीं। इसके बाद भी राज्य सरकार का यह निर्णय है कि इस साल प्रदेश में बिजली की दरों में बढ़ोतरी नहीं की जायेगी। मार्च 2020 तक मीटरीकरण का कार्य पूर्ण कर लिया जाएगा। उक्‍त बातें मध्यप्रदेश के ऊर्जा मंत्री प्रियव्रत सिंह ने सोमवार को पत्रकारों से कहीं ।

ऊर्जा मंत्री ने कहा कि सरकार ने उपभोक्ताओं को सस्ती और निर्बाध बिजली उपलब्ध कराने के लिए जनहित में कई निर्णय लिये हैं। मात्र एक साल में ही अब 90 प्रतिशत से अधिक उपभोक्ताओं को सरकार ने जनहितैषी निर्णय का फायदा मिलने लगा है।

पत्रकार वार्ता के दौरान ऊर्जा मंत्री सिंह ने भाजपा एवं प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पर आरोप लगाते हुए कहा कि वे लोगों को गुमराह कर रहे हैं कि प्रदेश में बिजली उपभोक्ताओं को अनाप-शनाप बिजली के बिल भेजे जा रहे हैं। हमारी सरकार को सरकारी बिजली कंपनियां भारी घाटे की हालत में मिली,लेकिन इसके बाद भी बिजली की दरों में कोई बढ़ोतरी नहीं करने जा रहे ।

ऊर्जा मंत्री ने बताया कि राज्य सरकार ने घरेलू उपभोक्ताओं के लिए इंदिरा गृह ज्योति योजना लागू की गई है। इसे अगस्त माह में संबल योजना से असम्बद्ध करते हुए सभी घरेलू उपभोक्ताओं, जिनकी 30 दिन की मासिक खपत 150 यूनिट से कम है, को 100 यूनिट की खपत का 100 रूपये बिल दिया जा रहा है। गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन करने वाले अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति के घरेलू उपभोक्ताओं को 30 यूनिट तक की मासिक खपत के लिए मात्र 25 रूपये की राशि देय होगी। उन्होंने बताया कि चार माह में एक बार 100 रूपये लिए जाने की व्यवस्था भी की गई है। ऊर्जा मंत्री ने कहा कि इस योजना में अभी तक एक करोड़ 86 हजार (92 प्रतिशत) से अधिक उपभोक्ताओं को लाभ मिला है। योजना में प्रतिवर्ष लगभग 3400 करोड़ रूपये की सब्सिडी शासन द्वारा दी जा रही है।

वहीं, ऊर्जा मंत्री ने विगत 7 दिसम्बर को कतिपय लोगों द्वारा सागर में एक वृद्ध महिला के गले में बिजली बिल की माला डालकर बिल अधिक आने के संबंध में निरर्थक प्रचार की निंदा की। उन्होंने बताया कि उस महिला का वास्तव में कुल बिल 96 रूपये का ही आया था।

प्रियव्रत सिंह ने बताया राज्य सरकार ने किसानों का बिजली बिल आधा किये जाने का कार्य नियत समय में पूरा किया है। इसी के साथ, दस हार्स पॉवर तक के कृषि पंप उपभोक्ताओं की विद्युत दरों को आधा कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि पूर्ववर्ती सरकार में जो 1400 रूपये प्रति हार्स पॉवर, प्रतिवर्ष कृषि पंपों की विद्युत दर निर्धारित थी, उसे एकदम आधा करके राज्य सरकार ने 700 रूपये प्रति हार्स पॉवर कर दिया है। इससे 19 लाख 91 हजार किसान लाभान्वित हो रहे हैं। इस योजना में प्रति किसान लगभग 47 हजार करोड़ रूपये प्रति वर्ष सब्सिडी दी जा रही है।

सिंह ने कहा कि विद्युत उपभोक्ताओं के गलत देयकों से संबंधित शिकायतों के निराकरण के लिए हर जिले में विद्युत वितरण केंद्रवार समिति का गठन किया गया है। प्रदेश में कुल 1210 समितियाँ गठित की गई हैं, जिनकी बैठक के लिए हर माह में दिन नियत किये गये हैं। समिति गठन के बाद 49 हजार से अधिक गलत देयकों से संबंधित शिकायतों का निराकरण किया गया है। इसके साथ प्रतिदिन 500 से अधिक शिकायतकर्ताओं से संपर्क कर उनकी संतुष्टि की जाँच की जाती है। अगस्त, 2019 से अब तक एक लाख 61 हजार 985 उपभोक्ताओं से फीडबैक लिया गया, जिनका संतुष्टि प्रतिशत 92 से अधिक रहा है।

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